चपरासी भर्ती के लिए राजस्थान के लगभग 24 लाख 76 हजार से भी ज्यादा आवेदन जमा किए हैं। इस प्रकार से इतनी ज्यादा संख्या में होने वाले इन आवेदनों से सभी लोग चौंक गए हैं। दरअसल हमारे देश में सरकारी नौकरी के लिए काफी ज्यादा प्रतिस्पर्धा रहती है।
इस तरह से देश की बढ़ती हुई बेरोजगारी के कारण भी उच्च शिक्षा प्राप्त लोगों को नौकरी नहीं मिल पाती है। आपको हम बता दें कि हाल ही में राजस्थान राज्य में चपरासी की भर्ती के लिए 53749 खाली पदों को भरने के लिए आवेदन मांगे गए थे। तो ऐसे में लाखों की तादाद में बेरोजगारों ने अपने आवेदन पत्र जमा किए थे।
आज के इस आर्टिकल में हम आपको बताएंगे कि चपरासी भर्ती के लिए कितनी शिक्षा वाले लोगों ने अपने आवेदन जमा किए हैं जिसके कारण सभी चौक गए हैं। इसके साथ ही हम आपको बताएंगे कि आखिर क्यों ऊंची शिक्षा के बावजूद भी इन लोगों ने चपरासी जैसे पद के लिए अपना एप्लीकेशन फॉर्म भरकर जमा किया है।
Chaprasi Vacancy 2025
अभी कुछ दिन पहले राजस्थान की राज्य सरकार की तरफ से चपरासी नौकरी के लिए नोटिफिकेशन जारी किया गया था। आपको जानकारी के लिए बता दें कि इस पद हेतु योग्यता 5वीं और 8वीं कक्षा पास मांगी गई थी। इस तरह से 24 लाख 76 हजार से भी अधिक उम्मीदवारों ने अपने आवेदन जमा किए हैं।
इतनी बड़ी संख्या में लोगों ने चपरासी के पद पर काम करने के लिए आवेदन जमा किए हैं तो इसके कारण सभी हैरत में हैं। दरअसल हैरत की बात यह है कि ऐसे लोग जिन्होंने ऊंची शिक्षा जैसे कि एमबीए, एमएससी, एमएड किया हुआ है इन सबने भी चपरासी भर्ती के लिए अप्लाई किया है।
सिविल सर्विस की तैयारी करने वालों ने भी किया आवेदन
यहां हम आपको बताते चलें की चपरासी भर्ती के लिए ना केवल पोस्ट ग्रेजुएट पूरी कर चुके उम्मीदवारों ने आवेदन दिए हैं बल्कि ऐसे लोगों ने भी अप्लाई किया है जो पीएचडी कर रहे हैं या फिर कर चुके हैं। इतना ही नहीं ऐसे अभ्यर्थी जो सिविल सर्विस एग्जाम की तैयारी कर रहे हैं इन सबने भी चपरासी भर्ती के लिए अप्लाई किया है।
दरअसल इसके पीछे मुख्य कारण है कि देश में बेरोजगारी निरंतर बढ़ती जा रही है। ऐसे में लोगों के लिए नौकरी हासिल करना बहुत मुश्किल हो गया है और वह भी सरकारी नौकरी। यही कारण है कि जब भी कोई सरकारी नौकरी निकलती है तो तब सभी शिक्षित वर्ग के छात्र अपना आवेदन जमा करते हैं।
बेरोजगारी की वजह से आवेदनों में आई बाढ़
राजस्थान अधीनस्थ सेवा चयन बोर्ड के द्वारा चपरासी भर्ती की प्रक्रिया को शुरू किया गया है। इस प्रकार से हम आपको बता दें कि औसतन 46% से भी ज्यादा आवेदन प्राप्त हुए हैं। बोर्ड के आधिकारिक आंकड़ों के मुताबिक 3 लाख से भी ज्यादा अभ्यर्थी ऐसे हैं जिन्होंने पोस्ट ग्रेजुएशन की डिग्री प्राप्त की हुई है।
इनमें से 12 हजार से भी ज्यादा ऐसे लोग हैं जिन्होंने पीएचडी की डिग्री ले रखी है। जबकि ऐसे उम्मीदवार जिन्होंने एमएससी, एमएड और एमबीए या फिर कोई और तकनीकी डिग्री हासिल की है इन सबने भी अपने एप्लीकेशन फॉर्म जमा किए हैं।
तो इससे यह बात पूरी तरह से स्पष्ट है कि देश में बेरोजगारी के कारण ऐसी स्थिति पैदा हो गई है कि उच्च शिक्षा हासिल करने वाले युवा भी परेशान हैं। यही कारण है कि ऊंची शिक्षा लेने के बावजूद भी युवा कम शैक्षणिक योग्यता वाली नौकरियों के लिए आवेदन देने हेतु मजबूर हैं।
चपरासी भर्ती हेतु क्यों इतनी बड़ी संख्या में हुए आवेदन
चपरासी जैसी नौकरी के लिए राजस्थान कर्मचारी चयन बोर्ड ने न्यूनतम शिक्षा योग्यता 8वीं या फिर 5वीं पास रखी है। इस पद के लिए सैलरी 18 हजार रुपए से लेकर 56900 रुपए सातवें वेतन आयोग के मुताबिक प्रदान की जाएगी।
इसके अलावा दूसरे भत्ते जैसे कि पेंशन, चिकित्सा सुविधा और नौकरी की स्थिरता के कारण चपरासी जैसी नौकरी काफी ज्यादा आकर्षक बन गई है। दरअसल प्राइवेट सेक्टर में अब नौकरी में अनिश्चितता रहती है, सैलरी भी कम होती है और नौकरी असुरक्षित रहती है जिसकी वजह से अब युवा अधिकतर सरकारी नौकरियों की तरफ अपना ध्यान दे रहे हैं। तो यही कारण है कि राजस्थान में चपरासी भर्ती के अंतर्गत भारी मात्रा में अभ्यर्थियों ने अपने आवेदन जमा किए हैं।